साँवत राम बैरवा – रश्मिरथी : समकालीन प्रासंगिकता – Abstract

शोध सारांश

‘रश्मिरथी’ राष्ट्र‌कवि दिन‌कर की अत्यंत लोकप्रिय प्रबंध कृति है I यह कृति अपने आधुनिक भाव बोध के कारण वर्तमान समय में भी अत्यंत प्रासंगिक है I इसमें महाभारत काल के पात्र कर्ण ,कुंती , कृष्ण ,परशुराम और भीष्म के माध्यम से समकालीन समस्याओं की ओर ध्यान आकृष्ट किया गया है जैसे  जाति और वर्ण पर आधारित भेदभाव, वंचित वर्ग की विवशता, नारी जीवन की विडम्बना और असहायता, अवैध संतान के जीवन की त्रासदी ,कुटिल राजनीतिज्ञों की स्वार्थलोलुपता के कारण उत्पन्न युद्ध और शांति की समस्या I इन समस्याओं के परिप्रेक्ष्य में ‘रश्मिरथी’ की प्रासंगिकता बहुत अधिक है I स्वतंत्रता के पचहत्तर वर्ष बीत जाने और इस कृति के लिखे जाने के सत्तर वर्ष बीत जाने पर भी ये समस्याएँ ज्यों की त्यों हमारे सामने मुँह बाँये सामने खड़ी है I

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